छत्तीसगढ़ के राजनंदगांव जिले के ग्राम आलीवारा निवासी आसाराम दास ने जीवन की कठिन परिस्थितियों में 6 अक्टूबर 2017 को संत रामपाल जी महाराज से नाम दीक्षा ली। नशा, कर्ज़, और पारिवारिक संघर्षों से जूझते हुए आत्महत्या के कगार पर खड़े आसाराम जी के लिए संत रामपाल जी महाराज की शरण ने जीवन में एक नई शुरुआत की।
संत रामपाल जी महाराज की शरण में आने का सफर
1. भक्ति और विश्वास की कमी:
- आसाराम जी बचपन से नास्तिक थे और देवी-देवताओं पर विश्वास नहीं करते थे।
- पारिवारिक और आर्थिक समस्याओं में देवी-देवताओं से प्रार्थना करने के बावजूद कोई समाधान नहीं मिला।
2. कर्ज़ का बोझ और आत्महत्या की सोच:
- 2011 में खरीदी गई JCB मशीन 2016 तक कर्ज़ का बड़ा कारण बन गई।
- बत्तीस लाख रुपये की JCB मशीन को मात्र साढ़े दस लाख रुपये में बेचना पड़ा।
- इसके बावजूद, लगभग 14-15 लाख रुपये का कर्ज़ शेष रह गया।
- स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि आत्महत्या के अलावा कोई विकल्प नहीं दिखता था।
3. परिवार और भक्तों का समर्थन:
- परिवार के समर्थन और संत रामपाल जी महाराज के अनुयायियों के मार्गदर्शन ने आसाराम जी को नाम दीक्षा लेने के लिए प्रेरित किया।
नाम दीक्षा के बाद जीवन में चमत्कारिक लाभ
1. नशा मुक्ति:
- पहले शराब और गुटखे की लत ने परिवार और स्वास्थ्य को बुरी तरह प्रभावित किया था।
- नाम दीक्षा लेने के तुरंत बाद नशे की आदत पूरी तरह से छूट गई।
- उन्होंने बताया कि आज तक उन्हें नशा करने का ख्याल तक नहीं आया।
2. मानसिक शांति:
- नाम दीक्षा के बाद तनाव और मानसिक दबाव जैसे गायब हो गए।
- संत रामपाल जी महाराज के दिए गए सत्मंत्रों ने मानसिक शांति और स्थिरता प्रदान की।
3. कर्ज़ से राहत:
- नाम दीक्षा के तीन साल के भीतर आठ से दस लाख रुपये का कर्ज़ चुका दिया।
- बचे हुए कर्ज़दार भी उनसे पैसे वापस मांगने नहीं आए।
4. पारिवारिक शांति:
- नशा छोड़ने और आर्थिक स्थिति में सुधार से परिवार में शांति और खुशी लौटी।
- उनकी पत्नी और बच्चों ने भी 2019 में संत रामपाल जी महाराज से नाम दीक्षा ली।
संदेश: संत रामपाल जी महाराज के बारे में उनका अनुभव
आसाराम जी का कहना है:
“संत रामपाल जी महाराज का ज्ञान और सत्मंत्र जीवन की हर समस्या का समाधान है। उनके शरण में आकर मैंने नशा छोड़ा, कर्ज़ से राहत पाई और अपने परिवार को खुशहाल बनाया।”
अन्य भक्तों के लिए संदेश:
- वे सभी को संत रामपाल जी महाराज का ज्ञान समझने और शरण में आने की विनती करते हैं।
- उनका मानना है कि यह मार्ग हर समस्या को दूर कर सकता है और मोक्ष का रास्ता दिखाता है।
कैसे जुड़ें संत रामपाल जी महाराज से?
- टीवी सत्संग:
- संत रामपाल जी महाराज के सत्संग विभिन्न चैनलों पर प्रसारित होते हैं।
- सत्संग के दौरान पीली पट्टी में दिए गए नंबरों पर संपर्क करें।
- सोशल मीडिया:
- jagatgururampalji.org पर विजिट करें।
- फेसबुक, यूट्यूब, इंस्टाग्राम पर ‘Sant Rampal Ji Maharaj’ सर्च करें।
- पुस्तकें पढ़ें:
- ज्ञान गंगा और जीने की राह पुस्तकें पढ़कर उनके ज्ञान को समझें।
निष्कर्ष
आसाराम दास जी की कहानी यह साबित करती है कि संत रामपाल जी महाराज का ज्ञान न केवल आध्यात्मिक बल्कि व्यावहारिक जीवन के लिए भी मार्गदर्शक है। अगर आप भी जीवन की समस्याओं से परेशान हैं और सच्चे समाधान की तलाश में हैं, तो संत रामपाल जी महाराज की शरण में आइए और अपनी जिंदगी को खुशहाल बनाइए।
“संत रामपाल जी महाराज की भक्ति से जीवन को बदलें, नशा और कर्ज़ से मुक्ति पाएं, और मोक्ष का मार्ग प्राप्त करें।”